रूप का तिलिस्म जब अरूप का सामना करे, तो बेचैनियां बढ़ जाती हैं...
कहाँ हैं आज कल गगरी में ओशन ऐसे कमाल करने वाली आप खुश रहिये
बहुत सुन्दर भाव्।
banaa rahe vishwaas naa toote kabhee aasduaa hamaaree haiaapkee kalam se nirantar nikalte raheinsundar bhaav
बहुत सुंदर!आभार !!
साधु-साधु
khubsurat rachana....
अगर आपने अपनी ओर से प्रतिक्रिया पब्लिश कर दी है तो थोड़ा इंतज़ार करें। आपकी प्रतिक्रिया इस ब्लॉग पर ज़रूर देखने को मिलेगी।
कहाँ हैं आज कल
ReplyDeleteगगरी में ओशन
ऐसे कमाल करने वाली आप
खुश रहिये
बहुत सुन्दर भाव्।
ReplyDeletebanaa rahe vishwaas
ReplyDeletenaa toote kabhee aas
duaa hamaaree hai
aapkee kalam se
nirantar nikalte rahein
sundar bhaav
बहुत सुंदर!
ReplyDeleteआभार !!
साधु-साधु
ReplyDeletekhubsurat rachana....
ReplyDelete