रूप का तिलिस्म जब अरूप का सामना करे, तो बेचैनियां बढ़ जाती हैं...
very nice expression
भरना है तोभरोइंद्रधनुष सा किसी केखाली जीवन का कैनवास..अनुपम ....
भरना है तोभरोइंद्रधनुष सा किसी केखाली जीवन का कैनवास.वाह क्या बात कही है।
bhoot aschi abhivyakti..
सुन्दर प्रस्तुति!--मकरसंक्रान्ति की हार्दिक शुभकामनाएँ!
आपकी इस उत्कृष्ट प्रविष्टि की चर्चा कल मंगलवार 15/1/13 को चर्चा मंच पर राजेश कुमारी द्वारा की जायेगी आपका वहां हार्दिक स्वागत है
✿♥❀♥❁•*¨✿❀❁•*¨✫♥♥सादर वंदे मातरम् !♥♥✫¨*•❁❀✿¨*•❁♥❀♥✿ रंग भरना आता है तोक्यों हो कागज की तलाश ?भरना है तो भरो इंद्रधनुष सा किसी के खाली जीवन का कैनवास...!! बहुत सुंदर कविता है ... रश्मि जी मन को सुकून देती रचना के लिए आभार ! हार्दिक मंगलकामनाएं …लोहड़ी एवं मकर संक्रांति के शुभ अवसर पर ! राजेन्द्र स्वर्णकार ✿◥◤✿✿◥◤✿◥◤✿✿◥◤✿◥◤✿✿◥◤✿◥◤✿✿◥◤✿
Bahut Sunder.....Shubhkamnayen
vaah ...
सुंदर भाव संयोजन...
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very nice expression
ReplyDeleteभरना है तो
ReplyDeleteभरो
इंद्रधनुष सा किसी के
खाली जीवन का कैनवास..
अनुपम ....
भरना है तो
ReplyDeleteभरो
इंद्रधनुष सा किसी के
खाली जीवन का कैनवास.
वाह क्या बात कही है।
bhoot aschi abhivyakti..
ReplyDeleteसुन्दर प्रस्तुति!
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मकरसंक्रान्ति की हार्दिक शुभकामनाएँ!
आपकी इस उत्कृष्ट प्रविष्टि की चर्चा कल मंगलवार 15/1/13 को चर्चा मंच पर राजेश कुमारी द्वारा की जायेगी आपका वहां हार्दिक स्वागत है
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♥सादर वंदे मातरम् !♥
♥✫¨*•❁❀✿¨*•❁♥❀♥✿
रंग भरना
आता है तो
क्यों हो
कागज की तलाश ?
भरना है तो
भरो
इंद्रधनुष सा किसी के
खाली जीवन का कैनवास...!!
बहुत सुंदर कविता है ...
रश्मि जी
मन को सुकून देती रचना के लिए आभार !
हार्दिक मंगलकामनाएं …
लोहड़ी एवं मकर संक्रांति के शुभ अवसर पर !
राजेन्द्र स्वर्णकार
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Bahut Sunder.....Shubhkamnayen
ReplyDeletevaah ...
ReplyDeleteसुंदर भाव संयोजन...
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